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Surya graham 2023: आज रात साल का आखिरी सूर्यग्रहण क्या भारत में दिखेगा?

इस साल का आखिरी Surya graham 2023 आज देर रात यानी 14 और 15 अक्टूबर के बीच होने जा रहा है। इसे कंकणाकृति यानि कंगन के आकार का सूर्यग्रहण कहा जा रहा है जो एक महत्वरपूर्ण खगोलीय घटना होगी। हालांकि सबसे बड़ी बात की अगले 15 दिन के बाद चंद्रग्रहण भी होने जा रहा है। विद्वान मानते हैं कि एक ही महीने में दो ग्रहण बहुत शुभ संकेत नहीं है। इजराइल-हमास का युद्ध अशुभ संकेतों का परिणाम है।
Surya graham 2023


Surya graham 2023 को लेकर सबसे बड़ा सवाल है कि क्या यह भारत में दिखेगा या प्रभावी होगा। तो जवाब है कि जी, नहीं। भारत में यह सूर्यग्रहण नहीं दिखेगा। यह साल का दूसरा सूर्यग्रहण है।

वैसे भारत के लोग इसे देख तो नहीं सकेंगे लेकिन आज की इंटरनेट की दुनिया में कुछ भी असंभव नहीं है। लाइव स्ट्रिमिंग तो है न ! नासा आज रात करीब नौ बजे से यू-ट्यूब पर सूर्यग्रहण को लाइव करेगा। आप चाहे तो देख सकते हैं।



    कब होगा


    जानकारी के मुताबिक सूर्यग्रहण 14 अक्टूबर की रात को भारतीय समयानुसार 8 बजकर 33 मिनट 9 सेकंड पर शुरू होगा और 11 बजकर 29 मिनट 5 सेकंड पर अपनी पूर्णता में पहुंच जायेगा और 15 अक्टूबर की मध्य रात्रि 2 बजकर 25 मिनट तक चलेगा। उस समय चंद्रमा, सूर्य का 96 प्रतिशत हिस्सा अपनी आगोश में ले लेगा।

    कहां कहां दिखेगा


    आज का सूर्यग्रहण भारत में नहीं दिखेगा लेकिन उत्तरी अमेरिका, कनाडा, मैक्सिको, अर्जेंटीना, कोलंबिया, क्यूबा, ब्रिटिश वर्जिन आयलैंड, ग्वाटेमाला, बारबाडोस, पेरू, उरुग्वे, ब्राजील, एंटीगुआ, वेनेजुएला, जमैका, हैती, पैराग्वे और डोमिनिका में दिखाई देगा । कैलिफोर्निया, टेक्सास, यूटा और नेवादा में रहने वालों को पूरी रिंग दिखाई देगी। बताया जाता है कि छह साल बाद ऐसा पहली बार होगा कि सूर्यग्रहण के दौरान रिंग ऑफ फॉयर देखने मिलेगा।

    क्यों होता है ये सूर्यग्रहण


    चंद्रमा जब एक बड़े सर्किल में कक्षा में सूर्य की परिक्रमा करता है तो वह कभी पृथ्वी के पास आ जाता है तो कभी पृथ्वी से दूर चला जाता है। कंकणाकृति सूर्यग्रहण तब होता है जब चंद्रमा पृथ्वी से दूर और सूर्य-पृथ्वी के बीच होता है। जब चंद्र पृथ्वी से दूर चला जाता है तो वह छोटा दिखता है और इसके चलते वह सूर्य को पूरी तरह ढंक नहीं पाता है ऐसे में सूर्य की रौशनी साइड से निकलने लगती है जो एक अंगूठी या कंगन का आकार बना देती है.इसी से रिंग ऑफ फॉयर होता है जिसे कंकणाकृति सूर्यग्रहण भी कहा जा रहा है।


    क्यों अहम है


    नासा के मुताबिक इस तरह का सूर्यग्रहण पहले कभी अनुभव नहीं किया गया है। यह ऐसा होगा जैसे किसी व्यक्ति ने आपके ऊपर एक कटोरा रख दिया हो।


    सूर्यग्रहण के दौरान क्या करना होगा


    वैसे तो यह ग्रहण भारत में दिखाई ही नहीं देगा इसलिये इसका यहां पर कोई प्रभाव नहीं होगा। न ही सूतक काल मान्य होगा और न ही इसका कोई धार्मिक प्रभाव पडेगा। फिर भी मान्यताओं के अनुसार आप सूर्यग्रहण काल के समय पूजा पाठ न करें, खाना न खायें, बाहर जाने से बचें और गायत्री मंत्र का जाप करें।

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